राजधानी के साइंस कॉलेज मैदान में आयोजित किए जा रहे राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के पहले दिन लद्दाख, सिक्किम, अरूणाचल प्रदेश, बेलारूस और छत्तीसगढ़ के लोक कलाकारों ने महोत्सव में संस्कृति की छटा बिखेरी। तीन दिनों तक चलने वाले इस नृत्य महोत्सव में 23 राज्यों, 03 केन्द्र शासित प्रदेशों और 06 बांग्लादेश, श्रीलंका, थाईलैण्ड, युगांड़ा, मालदीप और बेलारूस के लगभग 1800 कलाकार प्रस्तुति देंगे।
राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के दूसरे दिन राज्यपाल सुश्री अनुसुईया उइके होंगी मुख्य अतिथि : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल करेंगे कार्यक्रम की अध्यक्षता
लद्दाख, सिक्किम, अरूणाचल प्रदेश, बेलारूस और छत्तीसगढ़ सहित विभिन्न राज्यों के कलाकार देंगे प्रस्तुति
रायपुर,27 दिसम्बर 2019/ राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के दूसरे दिन 28 दिसम्बर को आयोजित कार्यक्रम में राज्यपाल सुश्री अनुसुईया उइके मुख्य अतिथि होंगी। कार्यक्रम की अध्यक्षता मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल करेंगे। विशिष्ट अतिथि के रूप में संस्कृति मंत्री श्री अमरजीत भगत, केन्द्रीय राज्य मंत्री श्रीमती रेणुका सिंह, छत्तीसगढ़ विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष श्री धरमलाल कौशिक, सांसद श्री सुनील सोनी, श्रीमती छाया वर्मा, विधायक श्री सत्यनारायण शर्मा, श्री बृजमोहन अग्रवाल, श्री धनेन्द्र साहू, श्री कुलदीप जुनेजा, श्री विकास उपाध्याय, जिला पंचायत की अध्यक्ष श्रीमती शारदा वर्मा और रायपुर नगर निगम के महापौर श्री प्रमोद दुबे उपस्थित रहेंगे।
राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के दूसरे दिन 28 दिसम्बर को साइंस कॉलेज मैदान में लद्ाख, सिक्किम, अरूणाचल प्रदेश, बेलारूस और छत्तीसगढ़ सहित विभिन्न राज्यों के कलाकारों द्वारा रंगारंग प्रस्तुति दी जाएगी। महोत्सव में 28 दिसम्बर को सवेरे नौ बजे से दोपहर 12.50 बजे तक गुजरात का वसावा नृत्य, आंध्रप्रदेश का ढिमसा नृत्य, त्रिपुरा का ममिता नृत्य, झारखण्ड का पायका नृत्य, तमिलनाडु का टोडा नृत्य, आरूणाचल प्रदेश का आदि नृत्य, राजस्थान का गवरी नृत्य, छत्तीसगढ़ के कोण्डागांव का हुल्की नृत्य सहित असम और मध्यप्रदेश राज्य का नृत्य प्रस्तुत की जाएगी। दोपहर 12.50 बजे से 1.40 बजे तक श्रीलंका, थाईलैण्ड एवं मालदीव देशों से आमंत्रित कलाकारों द्वारा गैर प्रतियोगी सांस्कृतिक प्रस्तुतियां दी जाएंगी। दोपहर 3 बजे से शाम 5 बजे तक गुजरात के कलाकारों द्वारा राठवा नृत्य, हिमांचल प्रदेश का किन्नौरा नृत्य, पश्चिम बंगाल का संथाली नृत्य का आयोजन होगा। शाम 5 बजे से 7.30 बजे तक ओडिसा का दुरवा नृत्य, बिहार का करमा नृत्य, अण्डमान निकोबार का निकोबारी नृत्य, तेलंगाना का माथुरी नृत्य, त्रिपुरा का होजागिरी नृत्य, उत्तराखण्ड का हारूल नृत्य, मणिपुर का थांगकुल नृत्य, छत्तीसगढ़ के जगदलपुर के कलाकारों द्वारा दंडामि माड़िया नृत्य प्रस्तुत की जाएगी। 7.30 बजे से 8.15 बजे तक अतिथियों के आगमन पर मंचीय कार्यक्रम होगा। रात्रि 8.15 बजे से 9 बजे तक बंाग्लादेश, युगांडा एवं बेलारूस देशों से आमंत्रित कलाकारों द्वारा गैर प्रतियोगी सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत की जाएगी।
राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के समापन समारोह में अधीर रंजन चौधरी होंगे मुख्य अतिथि : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल करेंगे कार्यक्रम की अध्यक्षता
रायपुर,28 दिसम्बर 2019/ रायपुर के साईंस कॉलेज मैदान में राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के अंतिम दिन 29 दिसम्बर को आयोजित समापन समारोह में सांसद एवं संसद की लोक लेखा समिति के अध्यक्ष श्री अधीर रंजन चौधरी मुख्य अतिथि होंगे। कार्यक्रम की अध्यक्षता मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल करेंगे। समापन समारोह का आयोजन रात्रि 7.30 बजे से किया गया है। महोत्सव के समापन अवसर पर विजेता प्रतिभागियों को पुरस्कार वितरण किया जाएगा।
कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में छत्तीसगढ़ विधानसभा के अध्यक्ष श्री चरणदास महंत, महाराष्ट्र विधानसभा के अध्यक्ष श्री नानाभाऊ पाडोले और राज्यसभा सांसद श्री मधुसूदन देवराम मिस्त्री उपस्थित रहेंगे। कार्यक्रम की विशिष्ट अतिथि के रूप में मंत्री श्री टी.एस. सिंहदेव, श्री ताम्रध्वज साहू, श्री रविन्द्र चौबे, डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम, श्री मोहम्मद अकबर, श्री कवासी लखमा, डॉ. शिवकुमार डहरिया, श्रीमती अनिला भेंड़िया, श्री जयसिंह अग्रवाल, गुरू रूद्रकुमार, श्री उमेश पटेल, श्री अमरजीत भगत, विधायक श्री सत्यनारायण शर्मा, श्री बृजमोहन अग्रवाल, श्री धनेन्द्र साहू, श्री कुलदीप जुनेजा, श्री विकास उपाध्याय, श्रीमती अनिता योगेन्द्र शर्मा, रायपुर जिला पंचायत की अध्यक्ष श्रीमती शारदा वर्मा और रायपुर नगर निगम के महापौर श्री प्रमोद दुबे उपस्थित रहेंगे।
राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के अंतिम दिन 29 दिसम्बर को उत्तराखण्ड के कलाकारों द्वारा लाष्पा नृत्य, जम्मू का बकरवाल नृत्य, मध्यप्रदेश का भड़म नृत्य, हिमाचल प्रदेश का गद्दी नृत्य, कर्नाटक और सिक्किम का नृत्य, झारखण्ड का दमकच नृत्य, छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले की दंडामी नृत्य प्रस्तुत की जाएगी। दोपहर 12.50 बजे से 1.40 बजे तक श्रीलंका, थाईलैड एवं मालदीव देशों से आमंत्रित कलाकारों द्वारा गैर प्रतियोगी सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुति की जाएंगी। दोपहर 3 बजे से शाम 6 बजे तक तेलंगाना, लद्दाख का नृत्य, उत्तरखण्ड का मुखौटा नृत्य, गुजरात और सिक्किम का नृत्य, केरल का मरायूराट्टम नृत्य, त्रिपुरा का संगराई नृत्य, मध्यप्रदेश का करमा नृत्य और छत्तीसगढ़ के कोण्डागांव का गौरमार नृत्य का आयोजन होगा। शाम 6 बजे से 7 बजे तक बांग्लादेश, युगांडा एवं बेलारूस देशों के कलाकारों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत की जाएगी। शाम 7 बजे से रात 9 बजे तक समापन समारोह, पुरस्कार वितरण और सम्मान का कार्यक्रम रखा गया है।
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