Baghel writes letter to Union Tribal Affairs Minister Arjun Munda
Chhattisgarh ranks first in the country for collecting 72.5 percent of the total minor forest produce collection under Minimum Support Price Scheme
139 Van Dhan Vikas Kendras have been set up, more than 120 herbals products are being manufactured and sold under the brand name of ‘Chhattisgarh Herbals’
Approval of this proposal would provide better benefits to the tribal and forest dweller families
Raipur, 20 February 2021
Chief Minister Bhupesh Baghel has written letter to Union Minister of Tribal Affairs Arjun Munda, requesting immediate approval of proposals worth Rs 234 crore 18 lakh for minor forest produce based development, in the larger interest of tribal people in Chhattisgarh.
In the letter, Chief Minister has stated that 44 percent of the geographical area in Chhattisgarh is covered in forests and 31.80 percent of the population belongs to tribal community. Under Government of India’s Minimum Support Price Scheme, 38 kinds of minor forest produce along with 14 others types of minor forest produce are procured at the rate fixed by State Government. In year 2020-21,minor forest produce worth nearly Rs 115 crore rupees have been procured at minimum support price so far.
This scheme has played an important role in providing employment to tribal people and forest dwellers during COVID crisis. In year 2020-21, Chhattisgarh secured first rank in the country for collecting 72.5 percent of the total minor forest produce collection under Minimum Support Price Scheme. Similarly, under Pradhan Mantri Van Dhan Yojana, 139 Van Dhan Vikas Kendras have been established and more than 120 herbals products are being manufactured and sold under the brand name of ‘Chhattisgarh Herbals’.
Chief Minister further stated in the letter to Union Minister that – Both the aforementioned schemes conducted under your leadership are being implemented with full efficiency by the state government. Furthering this effort, State Government has sent proposals for minor forest produce based development to largely benefit the forest dwellers. This includes the proposal worth Rs. 100 crore for working capital for collection of minor forest produce at minimum support price, proposal worth Rs 21.91 crore for reimbursement of business losses incurred under Minimum Support Price Scheme. Proposals include in year 2014-15 and in 2015-16, proposal worth Rs 46.50 crore for development of infrastructure to facilitate minor forest produce related works and proposal worth Rs 65.77 crore for livelihood development in scheduled areas under COVID-19 pandemic response plan. Chief Minister has requested the Union Minister to approve these proposals and sanction funds under the same as soon as possible.
मुख्यमंत्री ने केन्द्र सरकार से छत्तीसगढ़ के आदिवासियों के हित में लघु वनोपज आधारित विकास हेतु प्रेषित 234 करोड़ के प्रस्तावों को शीघ्र स्वीकृति प्रदान करने का किया अनुरोध
बघेल ने केन्द्रीय जनजातीय कार्य मंत्री अर्जुन मुण्डा को लिखा पत्र
वर्ष 2020-21 में न्यूनतम समर्थन मूल्य योजनांतर्गत लघु वनोपज संग्रहण में छत्तीसगढ़ राज्य देश में कुल संग्रहित मात्रा का 72.5 प्रतिशत संग्रहण कर प्रथम स्थान पर है
प्रधानमंत्री वन धन योजनांतर्गत 139 वन धन विकास केंद्र स्थापित कर 120 से अधिक हर्बल्स उत्पाद तैयार कर छत्तीसगढ़ हर्बल्स ब्रांड नाम से किया जा रहा है विक्रय
प्रस्तावों की स्वीकृति से आदिवासी-वनवासी परिवारों को मिलेगा और बेहतर लाभ
रायपुर, 20 फरवरी 2021
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने केन्द्रीय जनजातीय कार्य मंत्री अर्जुन मुण्डा को पत्र लिखकर छत्तीसगढ़ राज्य के आदिवासियों के हित में लघु वनोपज आधारित विकास हेतु 234 करोड़ 18 लाख रूपए के पूर्व में प्रेषित प्रस्तावों को शीघ्र स्वीकृति प्रदान करने का अनुरोध किया है। मुख्यमंत्री ने अपने पत्र में लिखा है कि – छत्तीसगढ़ राज्य में 44 प्रतिशत भौगोलिक क्षेत्र वनाच्छादित है तथा 31.80 प्रतिशत जनसंख्या आदिवासी समुदाय के हैं। भारत शासन द्वारा संचालित न्यूनतम समर्थन मूल्य योजनांतर्गत 38 प्रकार के लघु वनोपज के साथ अन्य 14 प्रकार के लघु वनोपज का राज्य सरकार द्वारा निर्धारित दर पर क्रय किया जा रहा है। वर्ष 2020-21 में आज दिनांक तक लगभग 115 करोड़ रू. मूल्य के लघु वनोपज को न्यूनतम समर्थन मूल्य पर क्रय किया गया है।
कोविड 19 के संकटकाल में सुदूर वनांचल के आदिवासी तथा अन्य संग्राहकों को रोजगार प्रदाय करने में इस योजना की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। वर्ष 2020-21 में न्यूनतम समर्थन मूल्य योजनांतर्गत लघु वनोपज संग्रहण में छत्तीसगढ़ राज्य देश में कुल संग्रहित मात्रा का 72.5 प्रतिशत संग्रहण कर प्रथम स्थान पर है। इसी प्रकार राज्य में प्रधानमंत्री वन धन योजनांतर्गत 139 वन धन विकास केंद्र स्थापित कर 120 से अधिक हर्बल्स उत्पाद तैयार कर छत्तीसगढ़ हर्बल्स ब्रांड नाम से विक्रय किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री को लिखा है कि – आपके नेतृत्व में संचालित उपरोक्त दोनों योजनाओं का राज्य द्वारा पूर्ण दक्षता से क्रियान्वयन किया जा रहा है। इस प्रयास को आगे बढ़ाते हुए क्षेत्रवासियों को लघु वनोपज आधारित विकास का लाभ प्रदाय करने हेतु प्रस्ताव प्रेषित किए गए है, जिनमें न्यूनतम समर्थन मूल्य पर लघु वनोपज संग्रहण हेतु कार्यपूंजी के लिए 100 करोड़ रूपए का प्रस्ताव, न्यूनतम समर्थन मूल्य योजनांतर्गत वर्ष 2014-15 व 2015-16 में व्यापार में हुई हानि की प्रतिपूर्ति के लिए 21.91 करोड़ रूपए, लघु वनोपज आधारित कार्य हेतु अधोसंरचना विकास के लिए 46.50 करोड़ रूपए तथा कोविड-19 पेनडेमिक रिपोंस प्लान के तहत अनुसूचित क्षेत्रों में अजीविका विकास के लिए 65.77 करोड़ रूपए के प्रस्ताव शामिल है। मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय मंत्री से इन प्रस्तावों को स्वीकृत कर शीघ्र राशि प्रदान करने का अनुरोध किया है।
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